देहरादून 29 दिसम्बर : 10% आरक्षण को लागू करवाने के लिए बैठे पीड़ित राज्य आंदोलनकारी मंच के साथियों के समर्थन में आज मातृ शक्ति की प्रतीक एवं पूर्व राज्य मंत्री श्रीमती सुशीला बलूनी व वरिष्ठ आंदोलनकारी ओमी उनियाल, लोक सेवा आयोग के पूर्व सदस्य संजय शर्मा तथा राज्य आंदोलनकारी मंच के अध्यक्ष जगमोहन सिंह नेगी भी पहुंचे।
मातृशक्ति प्रतीक सुशीला बलूनी ने सरकार पर कड़ा प्रहार करते हुए कहा कि जिन बातों को लेकर हम लोग सड़कों पर उतरे थे आज सरकार ने उस मूल भावना को पूरी तरह से ध्वस्त कर दिया है और तो हमें यह महसूस होने लगा है कि हम लोगों ने बेकार ही इस राज्य की लड़ाई लड़ी। इस राज्य के आन्दोलनकारी जिन्होंने अपने जीवन को दाव में लगा कर इस राज्य को बनाया जब वह ही आत्मदाह पर उतारु होने लगे तो फ़िर कुछ भी कहना बेकार है। जब सब कुछ नौकरशाहों की इच्छाओं के अनुरूप ही तय होना है तो उत्तर प्रदेश क्या बुरा था ।
ओमी उनियाल व जगमोहन सिंह नेगी ने सरकार की कठोर शब्दों में निंदा करते हुए कहा कि केस सरकार हारी थी हम नहीं । सरकार भी आपकी, महाधिवक्ता भी आपके औऱ पिस रहे हैं हमारे लोग ! ये नहीं चलेगा। तिवारी जी की सरकार ने आंदोलनकारियों का सम्मान करते हुए एक व्यवस्था दी जिसके फलस्वरूप हमारे साथियों ने परीक्षा भी पास की, पास होने के बाद वह नौकरी में लगे । उसके बाद कुछ तो टर्मिनेट कर दिये गए, अब आपकी सरकार में आन्दोलनकारीयों को अब नोटिस आ रहे है। मुख्यमंत्री बतायें कि इन लोगों को बचाने की जिम्मेदारी किसकी है। उन्होंने कहा कि अगर इस विषय पर अगर मुख्यमंत्री तुरंत निर्णय नहीं लेते तो हम 1994 वाला इतिहास दोहराने में कोई कसर नहीं छोड़ेंगे।
इधर धरने के तीसरे दिन पीड़ित उत्तराखंड आंदोलनकारी संघ के साथियों ने सरकार की बेरुखी से क्षुब्ध होकर सरकार को 31 दिसम्बर तक का अल्टीमेटम देते हुए 01 जनवरी को सामूहिक आत्मदाह का नोटिस भी दे दिया है । आज के धरने में बैठने वालों में क्रांति कुमार,अम्बुज शर्मा,चमोली से जगदीश चंद्र पंत, विकास रावत,वीरेंद्र रावत,सूर्यकांत,मनोज कुमार,राम किशन,गणेश शाह व सुरेश कुमार आदि थे।
धरने के समर्थन में पहुँचे लोगों में पूर्व राज्य मंत्री श्रीमति सुशीला बलूनी, जगमोहन सिंह नेगी, वरिष्ठ आंदोलनकारी ओमी उनियाल,महिला मंच की सचिव निर्मला बिष्ट,लोक सेवा आयोग के पूर्व सदस्य संजय शर्मा,आप के संजय भट्ट,जनक्रांति के सुरेश नेगी, आंदोलनकारी सयुंक्त परिषद के नवनीत गुसाईं, विपुल नौटियाल,सुरेश कुमार,सुशील विरमानी,आभा नौटियाल,विक्रम सिंह राणा,गीता बिष्ट,धर्मानंद भट्ट,प्रभात डंडरियाल, पूरण सिंह लिंगवाल आदि लोग मौजूद थे।