देश के विभिन्न राज्यों में रह रहे लोगों को उत्तराखंड मे लाने या दूसरे राज्यों के रह रहे लोगों को वापस भेजने के लिए उन्हे अपना पंजीकर वैब पोर्टल पर कराना होगा। उसके उपरान्त ही किसी को भी उत्तराखंड मे आने या बाहर जाने की अनुमति दी जायेगी।

ऐसे लोगों को वैब पोर्टल http://dsclservices.org.in/movement-outside-uttarakhand.php पर पंजीकरण कराना होगा बिना पंजीकरण के सुविधा अनुमन्य नही होगी। ऐसे लोग जो जनपद/उत्तराखण्ड से बाहर जाना अथवा आना चाहते हैं वह अपना पंजीकरण शासन द्वारा निर्धारित बैब पोर्टल पर अवश्य करा लें।

सचिव श्री शैलेश बगोली ने बताया कि आज रविवार को राजस्थान, हरियाणा और उत्तर प्रदेश में शिविरों में रूके लगभग 1400 उत्तराखंड के लोगों को बसों से वापस राज्य में लाया गया है। राज्य के भीतर अपने घर से बाहर जो लोग दूसरे जिलों में फंसे हैं, उन्हें भी अपने जिले में भेजा जा रहा है। इनमें जो लोग अपने वाहन से जाना चाहते हैं उन्हें पास निर्गत किए जा रहे हैं। राजस्थान सरकार से भी सहमति प्राप्त हुई है कि राजस्थान में फंसे हुए उत्तराखंड के जो लोग अपने वाहन से उत्तराखंड आना चाहते हैं, उन्हें राजस्थान सरकार द्वारा प्राथमिकता से पास निर्गत किए जाएंगे। दूरस्थ स्थानों से उत्तराखंड के लोगों को वापस राज्य में लाये जाने के लिए रेल मंत्रालय से समन्वय कर व्यवस्था की जा रही है। 

 

मुख्य विकास अधिकारी श्री विनीत कुमार ने बताया ने बताया कि शासन की व्यवस्था के अनुसार अंतर्राजीय आवागमन हेतु यात्रियों को भेजने वाले एवं प्राप्त करने वाले राज्य परामर्श उपरान्त आपसी सहमति के आधार पर सड़क मार्ग से नागरिकों के सुचारू आवागमन की व्यवस्था करेंगे। उन्होने बताया कि राज्यों में आने पर सीमावर्ती जिलों के बार्डर चैक पोस्ट के पास निर्धारित स्थलों पर थर्मल स्केनिंग,भोजन, पेयजल, शौचालय,चिकित्सा जांच की सुचारू व्यवस्था सम्बन्धित जिला प्रशासन द्वारा की जायेगी। जहां से नागरिक अपने-अपने जनपदों के गन्तव्य स्थलों को रवाना हो सकेंगे।

 

 

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