देहरादून,8 जनवरी: स्वदेशी जागरण मंच के प्रतिनिधिमंडल ने उत्तराखंड के पशुपालन,कौशल विकास,दुग्ध विकास मंत्री सौरभ बहुगुणा से विभिन्न विषयों पर प्रवीण पुरोहित के नेतृत्व में देहरादून स्थित आवास पर मुलाकात कर ज्ञापन सोंपा। इस पर चर्चा करते हुए पुरोहित ने कहा कि उत्तराखंड राज्य प्राप्ति आंदोलन में आंदोलनकारियों द्वारा दी गई शहादतों, उनके द्वारा झेले गये दमन और अत्याचार को दृष्टिगत रखते हुए उत्तराखंड की प्रथम निर्वाचित सरकार के मुखिया स्वर्गीय नारायण दत्त तिवारी ने आंदोलनकारियों और उनके आश्रितों को राज्याधीन सेवाओं में 10 % क्षैतिज आरक्षण का शासनादेश जारी किया था। किन्तु शासकीय अधिवक्ताओं की लचर पैरवी और लापरवाही के कारण यह शासनादेश एक ऐसी जनहित याचिका संख्या 67/2011 में निरस्त हो गया, जिसकी विषय-वस्तु में यह शासनादेश सम्मिलित ही नहीं था।परिणामस्वरूप जहाँ एक ओर सेवारत 1700 आंदोलनकारी श्रेणी के कार्मिकों की सेवाओं पर भी संकट आ गया है तो वहीँ दूसरी ओर परीक्षाओं में सफल घोषित हुए अभ्यर्थी अपनी नियुक्ति की प्रतीक्षा कर रहे हैं। इसके आलावा कोटद्वार में राज्य आंदोलनकरियों कि पेंशन में बहुत देरी हो रही है।

       आंदोलनकारी लम्बे समय से 10 % क्षैतिज आरक्षण की बहाली की माँग कर रहे हैं। स्वदेशी जागरण मंच यह मानता है कि मातृभूमि के लिये बलिदान देने वालों और संघर्ष करने वालों के प्रति समाज और सरकार को कृतज्ञ होना चाहिए। अब चूँकि मुख्यमंत्री द्वारा कमेटी का गठन कर दिया गया है जिसमें आप भी हैं और  
आप खुद कानून के अच्छे जानकार है और इस विषय पर आप हल निकाल सकते हैं।
   सभी की उम्मीद आप पर टिकी है। आंदोलनकारियों की इस न्यायोचित माँग के प्रति आप समयबद्ध आवश्यक कार्रवाई करते हुए इतिहास का एक स्वर्णिम अध्याय लिखेंगे। जिस पर मंत्री ने कहा कि 10% आरक्षण को लेकर सरकार गंभीर है और इसका रास्ता निकालने के प्रयास किये जा रहें हैं।   

इसके आलावा अन्य विषयों पर सचिव पेयजल , सचिव उद्योग, जिलाधिकारी को फोन कर कार्यवाही के लिए निर्देश दिया है. साथ ही में पशुपालन एवं जल जीवन मिशन आदि विषयों पर भी चर्चा हुई ।
गाय पालन कर रहे लोगों को राहत देने का निर्णय अब शासन स्तर पर लंबित है, इस विषय में जल संस्थान से प्रस्ताव बनकर शासन को चला गया है। एक तरफ तो स्वरोजगार बढ़ाने के लिए विभिन्न योजनाओं मैं सरकार सब्सिडी दे रही हैं वहीं दूसरी तरफ गाय पालन कर रहे लोगों को जल संस्थान द्वारा सामान्य बिल 700 रुपये के स्थान पर कमर्शियल कमर्शियल लगभग 2800 रुपये बिल दिया जा रहा है। कोटद्वार सहित उत्तराखंड के विभिन्न क्षेत्रों से इसकी शिकायत आ रही है,जिसको कमर्शियल की जगह समान्य बिल पर जनहित में फैसला अतिशीघ्र किया जाये। इसको 4-5 गाय तक समान्य किया ही जाना चाहिए।
जल जीवन मिशन में आ रही विभिन्न दिक्कत के बारे में जानकारी के साथ लघु कुटीर उद्योग को बढ़ावा देने के लिये सब्सिडी से लेकर विभिन्न विषयों पर आ रही दिक्कत पर जल्दी निर्णय करने कीटनाशकों के सरकारी टेंडर मैं अन्य राज्यों की तरह उत्तराखंड की कंपनी को भी प्रतिभाग करने का मौका देने के लिए निवेदन किया।

प्रतिनिधिमंडल में प्रांत संयोजक सुरेन्द्र जी, प्रांत संघर्षवाहिनी प्रमुख प्रवीण पुरोहित, क्रांति कुकरेती, अंबुज शर्मा, मेहरबान सिंह रावत, नरेंद्र रावत, कृष्ण सिंह नेगी, प्रिंस आदि शामिल थे. साथ में स्वदेशी के कार्यकर्ताओं ने मेले में दिए गए सहयोग के लिये सौरभ बहुगुणा का आभार व्यक्त किया.