देहरादून:  नैनीताल के रामनगर स्थित वन प्रभाग के तराई पश्चिमी के संपूर्ण डिवीजन क्षेत्र में 1 नवंबर से एस्टीमेशन का कार्य होना है। इस कार्य के तहत वन प्रभाग के तराई पश्चिमी में बाघों की संख्या का आकलन होगाए जिससे बाघों की वास्तविक संख्या का पता चल सकेगा।

दरअसल रामनगर वन प्रभाग तराई पश्चिमी क्षेत्र में वन प्रभाग 1 नवंबर से पुनः टाइगर एस्टीमेशन का कार्य करवाने जा रहा है। इससे पहले वन विभाग ने साल 2016 में तराई पश्चिमी वन प्रभाग के अंतर्गत टाइगर का आकलन किया थाए जिसमें टाइगरों की संख्या आंकी गई थी। वहींए साल 2018 में ऑल इंडिया टाइगर एस्टीमेशन में वन प्रभाग तराई पश्चिमी में 39 बाघ पाए गएए जिसमें 7 बाघों की बढ़ोत्तरी दर्ज की गईए जिसके बाद से ये क्षेत्र बाघों के लिए भी जाना जाने लगा। बताया जा रहा है कि वन विभाग अब फिर से 1 नवंबर से संपूर्ण तराई पश्चिमी क्षेत्र में बाघों की संख्या का आकलन करेगा।

वहींए वन प्रभाग तराई पश्चिमी के डीएफओ हिमांशु बागड़ी ने बताया कि तराई पश्चिमी के अंतर्गत बाघ काफी संख्या में पाए जाते हैं। इनका आखिरी एस्टीमेशन का कार्य साल 2018 में किया गया था। इस बार टाइगर एस्टीमेशन का कार्य होने जा रहा हैए जिससे कि बाघों की वास्तविक स्थिति का पता चल सकेगा। उन्होंने कहा कि टाइगर एस्टीमेशन का कार्य संपूर्ण तराई पश्चिमी के डिवीजनों में होगाए जो कि 1 नवंबर से शुरू करा दिया जाएगा।