देहरादून, राज्य आंदोलनकारियों ने शहीद स्मारक में एक बैठक का आयोजन किया। जिसमें आंदोलनकारियों ने सरकार के खिलाफ अपनी मांगों को लेकर रणनीति तैयार की। जिसके तहत राज्य आंदोलनकारियों ने आगामी 14 जुलाई को राजभवन घेराव का निर्णय लिया है। बीते कई वर्षों से प्रदेश के राज्य आंदोलनकारी अपनी मांगों को लेकर लामबंद हैं। राज्य आंदोलनकारी सरकार पर अपनी उपेक्षा का आरोप लगाया।
वरिष्ठ राज्य आंदोलनकारी व महिला आयोग की पूर्व अध्यक्ष सुशीला बलूनी व दिल्ली से आये पूर्व राज्य मंत्री व चिन्हित राज्य आंदोलनकारी सहयोग समिति के केंद्रीय मुख्य संरक्षक धीरेन्द्र प्रताप ने कहा कि ये हमारा दुर्भाग्य ही है़ कि राज्य बनने के 20-वर्ष बाद भी सड़को पर आने को विवश होना पड़ रहा है़ लेकिन फिर भी राज्य के हितों के लिए वह अंतिम क्षणों तक संघर्ष करने व अपने लोगो के लिए गोली खाने से भी पीछे नही हटेगे। उन्होने कहा कि वर्तमान सरकार द्बारा आंदोलनकारियों की जिस प्रकार लगातार उपेक्षा की गई हम इसकी कड़ी भर्त्सना करते है़ और दिनांक 14-जुलाई के राजभवन मार्च को सफल करने हेतु अपना पूर्ण समर्थन देते हैं।
डीएवी महा विधालय के पूर्व छात्र संघ अध्यक्ष व पूर्व राज्य मंत्री रविन्द्र जुगरान व सहकारी बाजार के अध्यक्ष विरेन्द्र पोखरियाल ने कहा कि पिछले 06-वर्षो से शहीदों के परिजनों व तमाम राज्य आन्दोलनकारियो की समस्याओ का संज्ञान नही लिया गया आज उनके परिवार पर रोजी रोटी का संकट खड़ा हो गया। राजभवन ने एक्ट दबाकर रखा हुआ है़ और हमारे नौजवान उम्रदराज हो गये। दोनों पूर्व छात्र संघ ने 14-जुलाई को राजभवन मार्च का समर्थन करते हुए कहा कि हमने इस राज्य के लिए जेल और लाठी इसलिए नही खायी थी कि हमारे लोगों को सड़को पर आना पड़े। हम पुनः लामबंद होंगे और अपने राज्य आन्दोलनकारियो के साथ राज्य हितों को बचाने के लिए इस मार्च को सफल करने के लिए पूर्णत प्रयास करेंगे।
सयुक्त संघर्ष समिति के अध्यक्ष वेद प्रकाश ने कहा कि जिस प्रकार राजभवन ने राज्य आन्दोलनकारियो के एक्ट को पिछले 06-वर्षो से दबाकर रखा हुआ है़ और आज सैकड़ो आंदोलनकारी परिवारो की नौकरी पर संकट आ गया जो निंदनीय है़। हम 14-जुलाई को पूर्ण शक्ति के साथ मार्च करेंगे और राजभवन को मजबूर होना पड़ेगा। ऋषिकेश से ही आये आंदोलनकारी साथी डी.एस॰ गुसाई ने सभी आंदोलनकारियों से आह्वान किया कि किसी भी पार्टी का पिछलग्गू बनने से बाज आये साथ ही उन्होने सभी को एक जुट हो कर खुद को ही एक दल के रूप में स्थापित करने का सुझाव भी दिया। बैठक मे आये कपिल डोभाल ने आंदोलनकारियों से थोड़ा सा अलग, मगर एक ज्वलंत मुद्दे के बारे मे बात करते हुए कहा कि वह पहाड़ मे चकबंदी लागू करवाने पर ध्यान आकर्षित किया।
आंदोलनकारी मंच के जिलाध्यक्ष प्रदीप कुकरेती का कहा कि चिन्हीकरण के मसले बीते कई सालों से लंबित हैं, लेकिन सरकार आंदोलनकारियों को सम्मान देने के बजाय उन्हें अपमानित कर रही है। इसलिए मजबूरन उन्हें फिर अपनी मांगों को लेकर आंदोलन करने पर विवश होना पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि राज्यपाल द्वारा आंदोलनकारियों की अनदेखी की जा रही है, क्योंकि वहां राज्य आंदोलनकारियों से संबंधित एक्ट लंबित पड़ा हुआ है। उन्होंने कहा कि इसके विरोध में आगामी 14-जुलाई को राजभवन मार्च को हर हाल में सफल किया जाएगा।
बैठक के अंत मे अध्यक्षता कर रहे आंदोलनकारी मंच के प्रदेश अध्यक्ष जगमोहन सिंह नेगी ने बैठक में आये सभी लोगों का आभार प्रकट करते हुए कहा कि 14-जुलाई को होने वाला कूच सयुंक्त संघर्ष समिति के बेनर पर राजपुर रोड स्थित बहल चौक से किया जाएगा और उस दिन सभी आंदोलनकारी अपनी ताकत का अहसास सरकार को करने के लिए कटिबद्ध रहें । कार्यक्रम का सफल संचालन पूरन सिंह लिंगवाल ने किया ।
आज कि बैठक में प्रमुख रूप से हर्षपति काला , महेन्द्र रावत, सुरेन्द्र कुकरेती , डाक्टर्स अहतान , क्रांति कुकरेती, विक्रम भण्डारी ,, ललित जोशी , रुकम पोखरियाल , जयदीप सकलानी , रामपाल , बलबीर नेगी , विनोद असवाल , पूर्ण सिंह राणा , युद्धवीर सिंह चौहान ,मनोज नॉटियाल (गोल्डी), बृजमोहन जोशी , धर्मपाल रावत , कमल गुंसाई ,देव नॉटियाल,चन्द्र किरण राणा , अंबुज शर्मा , विरेन्द्र रावत , मोहन खत्री ,राकेश नॉटियाल ,गम्भीर मेवाड़, सुमन भण्डारी,लोक बहादुर थापा , सतेन्द्र भण्डारी ,सुरेश नेगी , गणेश शाह , विकास रावत , लूसून टोडरिया , प्रमोद पंत , राकेश नौटियाल , सुमित थपलियाल , धीरेन्द्र पेट्वाल , हरी सिंह मेहर, सुरेश कुमार , जगदीश चौहान , सुदेश सिंह (मंत्री) सतेन्द्र नोगाई, अनुराग भट्ट , राधा तिवारी , अरुणा थपलियाल , सुलोचना भट्ट , सावित्री नेगी , कुसुम ठाकुर , सरोजनी गुनसोला , कौशल्या जोशी , सूर्यकान्त बमराडा , वीरेन्द्र गुंसाई , सरोजनी थपलियाल , विमला पंवार ,सतेन्द्र भट्ट आदि मौजूद थे।
इसके बाद 8 अगस्त को सभी आंदोलनकारी अपनी अन्य मांगों को लेकर मुख्यमंत्री आवास का घेराव भी करेंगे।