देहरादून और हरिद्वार के बाद प्रदेश के ऊधमसिंह नगर, नैनीताल और टिहरी गढ़वाल में भी छात्रवृत्ति घोटाला पकड़ा गया है. आईजी संजय गुंज्याल की अगुवाई में गठित एसआईटी ने कई दिन की जांच पड़ताल के बाद तीनों जिलों में घोटाले को लेकर कई संस्थानों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है.

आज से लगभग 2 वर्ष पहले कुछ चुनिंदा पत्तलकार जो छात्रवृति घोटालेबाजों के रहमोंकरम पर अपनी झोली दिन दूनी रात चौगुनी भर रहे थे और इस एवज में वे तब अपने दो कौड़ी के पोर्टलों पर जोर शोर से लिख रहे थे कि दशमोत्तर छात्रवृति योजना में कोई घोटाला हुआ ही नही है,ये सब महज एक साजिश के तहत प्रचारित किया जा रहा है कि योजना में करोड़ो का घोटाला हुआ है । लेकिन इस मसले पर माह दिसम्बर 2018 से दिन प्रतिदिन हो रहे नये खुलासों पर आज उनकी लेखनी चुप सी हो गई है, अब वे नही लिख रहे हैं कि कोई घोटाला नही हुआ, एसआईटी सब कुछ साजिश के तहत कार्यवाही कर रही है ।तब उन्हें शायद यह विश्वास था और मुगालता भी कि वर्ष 2005 की तरह ही इस बार भी शासन और निदेशालय में बैठे उच्च अधिकारी और नेताजी आपसी मिलीभगत से तमाम शिकायतें और सबूत होने के बावजूद भी अपने कृपापात्र अधिकारियों को कार्यवाही से बचाते हुए सब कुछ अपन मन माफिक देर सबेर मैनेज कर ही लेंगे ।ऐसा नही है कि शासन में बैठे उच्च अधिकारियों ने घोटालेबाजों को बचाने की कोशिशें नही की, कोशिशों उन्होंने इस बार भी भरसक और हद से ज्यादा की, शासन और निदेशालय की पत्रावलियां इस बात की गवाह है लेकिन इस बार वे अपने मंसूबे में कामयाब नही हो पाये । एक एक कर ही सही प्याज की तरह अरबों रुपयों के इस महा घोटाले की परतें दिन ब दिन एक एक कर उधड़ रही हैं । घोटालेबाजों को एक लंबी अवधि तक संरक्षण देने वाले भूल गये कि इस बार उनका सामना किसी एक व्यक्ति विशेष से नही बल्कि नागरिकों के संविधान प्रदत्त अधिकारों की रक्षा करने वाली राज्य की सर्वोच्च संस्था से है ।उम्मीद की जानी चाहिए जैसे जैसे इस महा घोटाले की जांच और कोर्ट की कार्यवाही आगे बढ़ेगी इस महा घोटाले को अंजाम देने वाले और शासन में बैठे घोटालेबाजों को संरक्षण देने वाले उच्च पद धारकों के चेहरों से भी नकाब उतरती जायेगी । घोटाले को अंजाम देने वाले विभागीय अधिकारियों को संरक्षण देने वाले बड़े खिलाड़ियों पर गाज गिरेगी ?

    “चन्द्र शेखर करगेती” 

         

  HNN मे “MID DAY MUDDA की खास रिपोर्ट

इन संस्थानों पर सामान्य वर्ग के छात्रों को एससी-एसटी में वर्ग में शामिल करने और फर्जी एडमीशन के आधार पर करोड़ों की छात्रवृत्ति हड़पने का आरोप है. छात्रवृत्ति घोटाले की जांच को आईजी संजय गुंज्याल की अगुवाई में गठित एसआईटी ने पहली कार्रवाई कर इसकी पुष्टि की ।वहीं एसआईटी प्रभारी संजय गुंज्याल ने बताया कि छात्रवृत्ति घोटाले में तीन जिलों में चार मुकदमे दर्ज कराए गए हैं. आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए पुलिस की दबिश चल रही है. कई अन्य संस्थानों के खिलाफ आने वाले दिनों में मुकदमे दर्ज करने की तैयारी है। घोटाले की तह तक जाकर कार्रवाई की जाएगी।

https://youtu.be/-l0MgcNmpWM