विकास के लिए जवाबदेही हेतु निकाली गई एकता यात्रा के निर्विघ्न सम्पन्न होने के बाद उत्तराखंड कार्मिक एकता मंच को अब शासन स्तर से वार्ता का इंतजार है। एकता यात्रा के दौरान जलकलश में लोगों द्वारा चढ़ाई गयी भेंट को गोलज्यू के मन्दिर में चड़ाने के बाद एकता मंच के अध्यक्ष रमेश चंद्र पाण्डे ने सुकून और विश्वास के साथ कहा कि जिस निमित्त गंगोत्री के जलकलश के साथ एकता यात्रा निकाली गई थी उस जलकलश को मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र रावत ने रामपुर तिराहा स्थित शहीद स्थल पर स्पर्श करते हुए नमन किये जाने से साफ है कि एकता यात्रा के उद्देश्य से सरकार सहमत है ।
एकता मंच की सरकार से अपेक्षा है कि विकास में बाधक हड़तालों के प्रति जवाबदेही तय किये जाने जैसे अहं मसले पर कार्मिक विभाग जल्द बैठक बुलाकर हड़ताल के कारणों की समीक्षा कर चिन्हित कारणों के लिए उत्तरदायित्व निर्धारित करे । एकता मंच की यह भी अपेक्षा है कि संवादशून्यता समाप्त करने के लिए उच्च न्यायालय द्वारा दिए गये आदेश के परिपालन में कार्मिक संघों और विभागाध्यक्षों के बीच हर तीसरे माह बैठक हों । कार्मिकों के पदोन्नति जैसे रूटीन के मामलों के निस्तारण हेतु सीटीजन चार्टर की तर्ज़ पर व्यवस्था बनाई जाय और सभी कार्मिकों को हर हाल में माह की पहली तारीख को पगार दी जाय ।
एकता मंच के अध्यक्ष रमेश चंद्र पाण्डे ने एकता यात्रा को सफल बनाने में सहयोग व समर्थन के लिए सभी का आभार व्यक्त करते हुए बताया कि राज्य स्थापना दिवस के अवसर पर 8 नवम्बर को ” विकास के लिए शहीदों का सपना साकार होना कितना जरूरी” विषय पर विचार गोष्ठी का आयोजन किया जाएगा । उन्होंने बताया कि एकता मंच के संयोजक मण्डल के सदस्य बी०एस०रावत एंव प्रदीप पपनै के नेतृत्व में एक शिष्टमंडल कल बृहस्पतिवार को अपरमुख्य सचिव राधा रतूड़ी से भेंट कर उक्त मसले पर बैठक के आयोजन हेतु अनुरोध करेगा ।
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